Joker 2 movie reviews

क्यूं देखनी चाहिएं Joker 2 movie reviews

तो यार, 2019 में याद है जोकर का एक डांसिंग सीन, और हमारे अंदर सारी बुरी मेमोरीज़, पुरानी खराब यादें, अचानक से बाहर निकल आई थीं। तो बॉस, इस बार पूरा 2 घंटे सिर्फ नाचना-गाना ही है, क्योंकि जोकर 2 को एक म्यूजिकल फिल्म की तरह रिलीज़ किया गया है। माने, जोकर 2 घंटे नाचेगा और नचाएगा। फिल्म रिलीज़ हुई है, और शॉकिंगली इसका हाइप जितना होना चाहिए था, उसका 10% भी नहीं लग रहा है। ऑस्कर जीता था जोकर ने, पर इसके Joker 2 movie reviews को लेकर कोई एक्साइटमेंट नहीं है।

कुछ इंट्रेसटिंग चीजें Joker 2 movie reviews

और कमाल की बात जानते हैं? फिल्म देखने के बाद मेरे दिमाग में सिर्फ एक ख्याल आया – काश मैं भी उन लोगों में से एक होती, जिन्हें शायद पता ही नहीं है कि जोकर का Joker 2 movie reviews बन चुका है। बात ऐसी है कि इस बार फिल्म सड़क से हटकर एक कोर्टरूम के अंदर चल रही है। जज के हाथ में हथौड़ा है, और सामने कटघरे में जोकर खड़ा है। असल में, यही तो सबसे बड़ा सवाल है – जोकर और आर्थर, ये दोनों सेम हैं या फिर अलग-अलग? क्योंकि अगर सेम हैं, तो फिर दोनों को ही फांसी पर लटकाया जाएगा। लेकिन केस ये है कि जोकर एक्ज़िस्ट ही नहीं करता, सर। वो सिर्फ एक दिमाग की बीमारी है, जिसने 5 साल पहले लाइव टीवी पर क्या करवा दिया था, आप और मैं बहुत अच्छे से जानते हैं।

Joker 2 movie reviews देखने से पहले क्या करे ?

अच्छा हां, बहुत ज़रूरी एडवाइस है – अगर जोकर 2 देखने जा रहे हो, तो पार्ट 1 पहले से देखा होना चाहिए, तभी पार्ट 2 को समझ पाओगे। वरना ढाई घंटे बर्बाद हैं। और दूसरी बात, फिल्म इंग्लिश में है, हिंदी रिलीज़ नहीं हुई है। प्लस, इंग्लिश एक्सेंट बड़ा खतरनाक है, तो प्लीज़ जहां सबटाइटल्स पढ़ने को मिलें, वहीं फिल्म देखना।

अब पार्ट 2 में एंट्री हुई है हार्ले क्विन की। कॉमिक्स पढ़ने वाले लोग बहुत अच्छे से जानते हैं कि यह कैरेक्टर जोकर की लाइफ में तूफान लेकर आने वाला है। जिसने फिल्म का ट्रेलर देखा है, वो जानता है कि इस जोकर की लाइफ में तूफान नहीं, बॉम ब्लास्ट होने वाला है, वो भी उसी कोर्ट में, जहां ज़िंदगी-मौत का फैसला होने वाला है। इससे ज्यादा मैं कुछ बता नहीं सकती, क्योंकि कुछ बचा ही नहीं है बताने को। बहुत ज्यादा शॉकिंग लगेगा, लेकिन फिल्म के अंदर इसके अलावा कोई कहानी है ही नहीं।

समझते है Joker movie को

पार्ट 1 में जिस तरीके से हमें समझाया गया था कि जोकर कैसे बना, वो बैकग्राउंड स्टोरी, और धीरे-धीरे उसकी पर्सनल लाइफ के साथ ऑडियंस को कनेक्ट किया था। आप यही जानने तो थिएटर जाना चाहते थे कि जोकर बनने के बाद वो क्या करेगा, ना? बट सैडली, फिल्म के अंदर स्टोरी एकदम जीरो है, बॉस। मजाक नहीं, सीरियसली। यकीन नहीं करोगे, लेकिन 99% लोग जो फिल्म देखकर आ रहे हैं, वो साफ-साफ बोल रहे हैं कि यह पिछले 20-30 सालों में सबसे ज्यादा फिजूल, अननेसेसरी सीक्वल है।

याद है 2019 में फिल्म का वायलेंस मीटर इतना ऊपर गया था कि क्रिटिक्स वगैरह ने कंप्लेन की थी कि इस फिल्म को बैन कर देना चाहिए, रोक लगा दो इस पर। और देखो कमाल की बात, 5 साल बाद, 2024 में, फिर से जोकर 2 को बैन करने की बात हो रही है। लेकिन इस बार यह रिक्वेस्ट खुद फैंस कर रहे हैं, क्योंकि असल में जोकर 2 इतनी खराब फिल्म बनकर आई है कि जिसने डायरेक्ट पार्ट 2 देखा, वो शायद पार्ट 1 देखने के बारे में सोचना भी नहीं चाहेगा। लेगेसी बर्बाद।

जोकर 2 में एक्शन तो है ही नहीं, मतलब वायलेंस तो दूर की बात है। मामूली तोड़फोड़, गुस्सा वगैरह कुछ भी नहीं मिलेगा, जबकि आर्थर जेल के अंदर है। वहां कितना स्कोप बनता है एक आइकॉनिक पागलपन, मारधाड़, खून-खराबे वाले सीन का। लेकिन वेट करते रह जाओगे, कुछ भी नहीं होगा। चलो, एक बार को सोच लेते हैं, एक्शन छोड़ो, इमोशंस को फ्रंट में रखकर फिल्म बनाई गई होगी, जोकर के दिमाग में क्या चल रहा है वो रिवील किया जाएगा, लेकिन कहानी है ही नहीं। इसीलिए कैरेक्टर एकदम कंफ्यूज है कि करना क्या है, उससे ज्यादा पब्लिक कंफ्यूज हो गई है कि स्क्रीन पर देखकर फील क्या करना है।

लव स्टोरी को इंट्रोड्यूस किया इन लोगों ने। पिछली बार सिर्फ सपनों में थी, इस बार रियल में। जोकर और हार्ले क्विन एक साथ – सोचकर लग रहा होगा, पागलपन दिमाग फाड़ देगा। बट सिर्फ बातें हैं यार, वो भी किसी मतलब की नहीं हैं। जिनको फील करो, ऐसा कुछ डीप नहीं है।

सॉन्ग्स की बात करते हैं, तो उतना एक्साइट नहीं करेंगे किसी को भी। हां, एक-दो सींस मजेदार हैं, जिनको स्क्रीन पर देखकर मजा आएगा, स्पेशली ये स्माइल वाला सीन। जिसने सोचा होगा, काश उसी ने पूरी फिल्म बनाई होती। आप उन लोगों के चक्कर में मत पड़ना, जो ये लॉलीपॉप देंगे कि जोकर 2 एक आर्ट फिल्म है, सिर्फ समझदार लोगों को समझ आती है।

सिंपल वर्ड्स में, जोकर 2 बोरिंग फिल्म है। कोई हिडन मैसेज नहीं, कोई हिडन मीनिंग नहीं। ढूंढने पर एक भी सीन नहीं मिलेगा जिसमें दिमाग लगाने का मन करेगा। कहानी और कहानी दिखाने का तरीका दोनों इंटरेस्टिंग नहीं हैं। स्पेशली क्लाइमैक्स खत्म होने के बाद आपको एक भी चीज़ फील नहीं होगी, जबकि पार्ट 1 में 1000 इमोशंस फील हुए थे। स्क्रीन पर ऑक्वार्डनेस तगड़ी होगी, लेकिन किसी एक्टर का इस्तेमाल कैसे करना है, वो उसकी एक्टिंग से ज्यादा जरूरी होता है।

सच बोलूं, इस चेहरे को फिल्म से हटा दोगे तो जोकर 2 को शायद बॉलीवुड मूवी से ज्यादा ट्रोल करेंगे लोग, क्योंकि दो लेजेंड्स का नाम बर्बाद किया है इसने। फिल्म को मेरी तरफ से दो स्टार्स मिलेंगे। पहला, म्यूजिकल कांसेप्ट, जो सुनने में मजेदार है, लेकिन एग्ज़ीक्यूशन टोटल फेल। दूसरा, ‘जे फॉर जोकर’, ‘जे फॉर ऑक्विल’, जो पैदा ही जोकर बनने के लिए हुआ था। फिल्म 10 पर भी अच्छी होती, तो हाथों में दूसरी ऑस्कर की ट्रॉफी होती।

Joker 2 movie reviews के कुछ निगेटिव पॉइंट्स

नेगेटिव्स में – ज़ीरो स्टोरी, कुछ भी नहीं है कहानी में। दूसरा, डायरेक्शन। यकीन नहीं हो रहा कि टॉड फिलिप्स ने यह सिनेमा बनाया। कुछ एआई-वाई का चक्कर तो नहीं है? तीसरा और सबसे बड़ा जुर्म है, ऑडियंस को थिएटर बुलाना 5 साल बाद, लेकिन जोकर से ना मिलवाना। सिर्फ कपड़े पहनने से कोई जोकर नहीं बनता है। जो सच्चे फैंस हैं, वो तो मिस करेंगे नहीं, लेकिन न्यूट्रल ऑडियंस – जोकर 1 दोबारा घर पर देख लो, फायदे का सौदा होगा। बाकी, इसमें में कुछ पसंद आया हो या फिर कुछ शिकायत करनी हो, तो मैं आपको सुनने के लिए हमेशा हूं।”

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